
बिलासपुर रेलवे जोन में यात्रियों को शुद्ध पेयजल उपलब्ध कराने वाला रेल नीर प्लांट अब बंद हो चुका है, जिससे गर्मी के दिनों में यात्रियों को पानी की किल्लत का सामना करना पड़ सकता है। रेलवे ने इस समस्या के समाधान के लिए जबलपुर और नागपुर स्थित प्लांट से पानी आपूर्ति का निर्णय लिया है, लेकिन इन दोनों प्लांट्स की उत्पादन क्षमता बिलासपुर जोन की भारी मांग को पूरा करने के लिए अपर्याप्त साबित हो सकती है। गौरतलब है की यात्रियों के स्वास्थ्य के मद्देंनजर पानी की शुद्धता को लेकर निजी कंपनियों के पानी पर बैन लगाने वाले रेल प्रशासन ने इस बार निजी कंपनियों पर भरोसा जताया है और यात्रियों को सुध पेयजल के लिए जबलपुर, नागपुर की निजी कंपनियों की ओर रुख किया है l

बिलासपुर रेलवे स्टेशन देश के प्रमुख व्यस्ततम मार्गों में से एक है, जहां से मुंबई-हावड़ा समेत कई महत्वपूर्ण ट्रेनें गुजरती हैं। इस क्षेत्र में कोयला और कच्चे माल की लदाई के साथ-साथ यात्री गाड़ियों की भारी संख्या के कारण पेयजल की मांग हमेशा अधिक रहती है।

रेल नीर प्लांट के बंद होने के बाद रेलवे ने निजी कंपनियों को पानी आपूर्ति का ठेका दिया है। अब यात्रियों को स्टॉल और पेंट्रीकार के माध्यम से किनले, शिवनाथ और अमरकंटक वॉटर बॉटल जैसी कंपनियों का पानी उपलब्ध कराया जाएगा। रेलवे के सीपीआरओ ने बताया कि इन कंपनियों द्वारा आपूर्ति किए जाने वाले पानी की गुणवत्ता की जांच के बाद ही उन्हें वेंडरों और पेंट्रीकारों में सप्लाई की अनुमति दी गई है। यदि कोई अन्य कंपनी का पानी बेचते हुए वेंडर पकड़ा जाता है, तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
रेल नीर प्लांट के बंद होने से यात्रियों में चिंता बढ़ गई है, क्योंकि गर्मी के दिनों में शुद्ध पेयजल की मांग कई गुना बढ़ जाती है।

