
बिलासपुर। छत्तीसगढ़ विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष डॉ. चरणदास महंत शुक्रवार को एक दिवसीय प्रवास पर बिलासपुर पहुंचे। यहां उन्होंने कांग्रेस भवन में कार्यकर्ताओं की बैठक ली। इस बैठक का मुख्य उद्देश्य आगामी दिनों में आयोजित होने वाले प्रदेश स्तरीय “वोट चोर गद्दी छोड़” आंदोलन की तैयारी को लेकर दिशा-निर्देश देना रहा। बैठक में भिलाई के विधायक देवेंद्र यादव, बिलासपुर प्रभारी सुबोध हरितवात सहित बड़ी संख्या में कांग्रेसी नेता, विधायक और कार्यकर्ता मौजूद रहे।
बैठक के बाद डॉ. महंत ने पत्रकारों से चर्चा की। इस दौरान उन्होंने हाल ही में दिए गए विवादित बयान पर सफाई दी। दरअसल, उन्होंने कुछ दिन पहले मीडिया में कहा था कि कांग्रेस पार्टी के जिला अध्यक्षों, नेताओं और विधायकों के आसपास “चमचे” होते हैं, जिसकी वजह से चुनाव में हार होती है। और साथ ही महंत ने इन चमचों से कांग्रेसी पदाधिकारियों को दूर रहने की सलाह भी दी थी ।इस बयान को लेकर संगठन में चर्चा तेज हो गई थी। वहीं आज बिलासपुर पहुंचे महंत ने अपने इस बयान पर मीडिया के सामने आज प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि सांप बिच्छू की संख्या जितनी है उतनी संख्या में आज चमचे भी मौजूद है ।
महंत ने स्पष्ट किया कि “चमचे” और “कार्यकर्ता” में जमीन-आसमान का फर्क है। कार्यकर्ता पार्टी और नेता को जमीनी स्तर पर मजबूत बनाता है, जबकि चमचे केवल अपना हित साधते हैं और कई बार नेता को भी दांव पर लगा देते हैं। उन्होंने कहा कि हर पार्टी में ऐसे लोग होते हैं और वे खुद अपने आसपास के कार्यकर्ताओं और चमचों की पूरी जानकारी रखते हैं। महंत ने कार्यकर्ताओं से अपील की कि वे संगठन और आंदोलन की मजबूती के लिए मिलकर काम करें।

