बिलासपुर।प्रदेश की न्यायधानी में आज खबर लिखने पर सीधे धमकी भरे लहजे में चमकाना एक फैशन सा बनता जा रहा है । ताजा मामला एक पत्रकार और राजस्व विभाग में बैठे एक चर्चिल पटवारी से जुड़ा हुआ है । इस मामले में पत्रकारों के संगठन से जुडे पत्रकारों ने प्रभारी और राजस्व मंत्री से शिकायत की है ! और सबूत के तौर पर एक ऑडियो क्लिप की सीडी और वाट्सअप के जरिये की गई चैटिंग की कॉपी भी सौपी है .! पूरे प्रकरण को गंभीरता से सुनते हुए मंत्री जी ने कहा कि पटवारी कौशल यादव की निलंबन के बाद बहाली की गई है और उन्हें जिले से बाहर पदस्थ किया गया है और इस मामले में निष्पक्ष जांच का आस्वासन दिया है .!
पत्रकार महफूज खान ने लिखित शिकायत में सूरज यादव जो कि पटवारी का रिश्ते में साला बताया जा रहा है उसके द्वारा फोन पर खुद को पत्रकार बताकर अपने पोर्टल में खबरे चलवा कर अपनी पहचान बताने की कोशिश की । साथ ही पत्रकार गोविन्द शर्मा से फ़ोन पर पटवारी कौशल यादव से की गई बातचीत की रिकार्डिंग और वाट्सअप चैट पेश की है ।
अभी कुछ दिनों पहले हुए एक पत्रकार पर जानलेवा हमला का मामला सरकंडा थाने में पेंडिंग पड़ा हुआ है उस मामले में पुलिस अभी तक सीसीटीवी फुटेज के वावजूद अभी तक आरोपियों की पहचान करने में नाकाम साबित हुई है । मामले में कुछ कुछ लोगो की नामजद शिकायत थाने के अलावा उच्च अधिकारियों से भी की गई थी । इसमे भी पत्रकार ने खबरे लगने के कारण हमले की आशंका जाहिर की थी ।
वही इस मामले के सामने आने के बाद से ही अब लोगो के जहन में ये सवाल उठने लगा है क्या अब खबरों में अपना पक्ष रखने की वजाय हमले और धमकी देना फैशन बन गया है ..? जो कि किसी भी सूरत में सही नही कहा जा सकता है इसलिए जिला प्रशासन और पुलिस प्रशासन को यह तय करना होगा कि पत्रकार कौन है और कौन नही अब इसके लिए क्या मापदंड तय किये गए है ? यह अभी भी ऐसा सवाल बना हुआ है जिसका जबाब किसी के पास नही है .। असली और नकली फर्जी पत्रकारो की पहचान के लिये भी वरिष्ठ पत्रकारो के बीच हमेशा चर्चा का बाजार गर्म रहता है।